रात के समय दही का सेवन, दही को गर्म करना, व्यंजन पकाते समय उसमें दही मिलाना, ठीक से न जमा हुआ खट्टा व बासी दही सर्वथा त्याज्य है ।
2.
उगते हुए सूर्य की किरणें, चिता का धुआँ, वृद्धा स्त्री, झाडू की धूल और पूरी तरह न जमा हुआ दही-इनका सेवन व कटे हुए आसन का उपयोग दीर्घायु चाहने वाले पुरुष को नहीं करना चाहिए।
3.
उगते हुए सूर्य की किरणें, चिता का धुआँ, वृद्धा स्त्री, झाडू की धूल और पूरी तरह न जमा हुआ दही-इनका सेवन व कटे हुए आसन का उपयोग दीर्घायु चाहने वाले पुरुष को नहीं करना चाहिए।
4.
शरीर को सुखा देने वालों में शोक, पुंस्त्वशक्ति नष्ठ करने वालों में क्षार, शरीर के स्रोतों में अवरोध उत्पन्न करने वाले पदार्थों में मंदक दही (पूर्ण रूप से न जमा हुआ दही) तथा वायु उत्पन्न करने वालों में जामुन मुख्यतम है।
5.
शरीर को सुखा देने वालों में शोक, पुंस्त्वशक्ति नष्ठ करने वालों में क्षार, शरीर के स्रोतों में अवरोध उत्पन्न करने वाले पदार्थों में मंदक दही (पूर्ण रूप से न जमा हुआ दही) तथा वायु उत्पन्न करने वालों में जामुन मुख्यतम है।